
Patna News: मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने आज पटना स्थित ललित नारायण मिश्र आर्थिक विकास एवं सामाजिक परिवर्तन संस्थान (LNMI) परिसर में लगभग 13 करोड़ रुपये की लागत से बनने वाले विभिन्न भवनों की आधारशिला रखी। उन्होंने एनेक्सी भवन (2.87 करोड़), वार्डन ब्लॉक (4.90 करोड़) और स्टार्टअप ब्लॉक (5.33 करोड़) का शिलान्यास किया।
इस अवसर पर मुख्यमंत्री ने संस्थान के विभिन्न हिस्सों का निरीक्षण कर वहां की शैक्षणिक, भौतिक एवं प्रशासनिक व्यवस्थाओं की समीक्षा की। कार्यक्रम की शुरुआत मुख्यमंत्री द्वारा संस्थान परिसर में स्थापित पूर्व केंद्रीय रेल मंत्री ललित नारायण मिश्र की प्रतिमा पर माल्यार्पण एवं पुष्प अर्पित कर श्रद्धांजलि देने के साथ हुई।
20 सहायक प्राध्यापकों को मिला नियुक्ति पत्र
मुख्यमंत्री ने LNMI में आयोजित नियुक्ति पत्र वितरण समारोह में 20 नव-नियुक्त सहायक प्राध्यापकों को नियुक्ति पत्र सौंपे। इस मौके पर उन्होंने रीतू नारायण, प्रीति सिंह, अशोक कुमार, संतोष कुमार झा एवं संजय कुमार को सांकेतिक रूप से नियुक्तिपत्र प्रदान किया।
शिक्षा व विकास की दिशा में LNMI का योगदान
मुख्यमंत्री को शिक्षा विभाग के अपर मुख्य सचिव एवं संस्थान के निदेशक डॉ. एस. सिद्धार्थ ने हरित पौधा भेंटकर स्वागत किया, वहीं शिक्षा मंत्री सह कार्यकारी अध्यक्ष श्री सुनील कुमार ने पुष्पगुच्छ भेंट किया।
कार्यक्रम में मुख्यमंत्री के प्रधान सचिव दीपक कुमार, मुख्यमंत्री के सचिव अनुपम कुमार, विशेष कार्य पदाधिकारी गोपाल सिंह, पटना डीएम डॉ. चंद्रशेखर सिंह और एसएसपी अवकाश कुमार समेत बड़ी संख्या में प्राध्यापक, छात्र-छात्राएं एवं नव-नियुक्त शिक्षक मौजूद रहे।
LNMI – बिहार का अग्रणी प्रबंधन संस्थान
1973 में स्थापित LNMI वर्तमान में पूर्वी भारत के अग्रणी प्रबंधन संस्थानों में शामिल है। वर्ष 2025 के Times B-School Survey में संस्थान ने शीर्ष 15 संस्थानों में स्थान प्राप्त किया है। यहां AICTE मान्यता प्राप्त स्नातक और स्नातकोत्तर कोर्स संचालित किए जाते हैं।
LNMI का Start-up Cell भावी उद्यमियों को प्रशिक्षण एवं मार्गदर्शन प्रदान कर रहा है। संस्थान का 90% से अधिक प्लेसमेंट रिकॉर्ड, गुणवत्तापूर्ण शिक्षा और कम फीस ढांचा छात्रों को आकर्षित कर रहा है, जिससे समाज के कमजोर वर्गों को भी लाभ मिल रहा है।
LNMI, आर्यभट्ट ज्ञान विश्वविद्यालय से संबद्ध है और राज्य सरकार द्वारा यहां निरंतर आधारभूत संरचनाओं का विकास किया जा रहा है।