
भारत निर्वाचन आयोग के निर्देशानुसार विशेष गहन पुनरीक्षण (Special Intensive Revision – SIR) तथा मतदान केंद्रों के युक्तिकरण को लेकर बुधवार को समाहरणालय स्थित सभागार में जिला निर्वाचन पदाधिकारी-सह-जिला पदाधिकारी डॉ. नवल किशोर चौधरी की अध्यक्षता में राजनीतिक दलों के प्रतिनिधियों के साथ एक महत्वपूर्ण बैठक आयोजित की गई।
डॉ. चौधरी ने कहा कि सभी दलों को सहयोग करना चाहिए ताकि पात्र नागरिकों के नाम मतदाता सूची में अवश्य शामिल हों और अपात्र लोगों के नाम हटाए जा सकें। उन्होंने मतदाता सूची की शुद्धता और पारदर्शिता को सर्वोच्च प्राथमिकता बताते हुए सभी दलों से प्रत्येक मतदान केंद्र के लिए बूथ लेवल एजेंट (BLA) की नियुक्ति संशोधित BLA फार्म-2 के माध्यम से करने का अनुरोध किया।
गहन पुनरीक्षण की प्रमुख बातें:
- बिहार में पिछली बार विशेष गहन पुनरीक्षण वर्ष 2003 में हुआ था।
- इस बार का पुनरीक्षण 25 जून से 30 सितंबर 2025 तक आयोजित किया जाएगा।
- यह प्रक्रिया भारत निर्वाचन आयोग द्वारा निर्धारित दिशा-निर्देशों और समय-सारणी के अनुरूप होगी।
- 01.01.2003 की निर्वाचक नामावली पात्रता का प्राथमिक प्रमाण मानी जाएगी।
प्रक्रिया की पारदर्शिता और सत्यापन
- BLO घर-घर जाकर Enumeration Form वितरित करेंगे और तीन बार दौरा करेंगे।
- मतदाता चाहें तो ऑनलाइन भी फॉर्म भर सकते हैं और दस्तावेज़ अपलोड कर सकते हैं।
- केवल उन्हीं मतदाताओं के नाम ड्राफ्ट रोल में होंगे जिन्होंने निर्धारित प्रक्रिया पूरी की है।
- जिन मतदाताओं ने समय पर फॉर्म नहीं दिया है, वे दावे और आपत्तियों की अवधि में फ़ॉर्म-6 और घोषणा पत्र के साथ आवेदन कर सकेंगे।
ERO और AERO की भूमिका
- प्राप्त दावों और आपत्तियों की जाँच पहले AERO, फिर अंतिम निर्णय ERO द्वारा लिया जाएगा।
- यदि पात्रता पर संदेह हो तो सुनवाई और दस्तावेज़ों के आधार पर निर्णय पारित किया जाएगा।
- संदिग्ध विदेशी नागरिकों के मामलों को नागरिकता अधिनियम, 1955 के तहत सक्षम प्राधिकारी को भेजा जाएगा।
मतदान केंद्रों का युक्तिकरण
- प्रत्येक मतदान केंद्र पर 1200 मतदाताओं के मानक को आधार बनाकर युक्तिकरण किया जाएगा।
- इसके लिए 25 जून से 26 जुलाई 2025 तक की समयसीमा निर्धारित की गई है।
- ड्राफ्ट मतदाता सूची का प्रकाशन 01 अगस्त 2025 को किया जाएगा।
आवश्यक दस्तावेज़ों की सूची (कुछ प्रमुख उदाहरण)
- 01.07.1987 से पूर्व के सरकारी दस्तावेज़
- केंद्र / राज्य सरकार द्वारा जारी पहचान पत्र या पेंशन आदेश
- जन्म प्रमाण पत्र / पासपोर्ट / मैट्रिक प्रमाणपत्र
- जाति प्रमाण पत्र / स्थायी निवास प्रमाण पत्र
- नागरिकों का राष्ट्रीय रजिस्टर (जहां लागू हो)
- सरकारी भूमि या आवास का आवंटन प्रमाणपत्र
राजनीतिक दलों की भागीदारी ज़रूरी
डॉ. चौधरी ने कहा कि BLA की सक्रिय भूमिका से मतदाता सूची में सुधार व त्रुटियों की पहचान समय रहते की जा सकती है, जिससे बाद की जटिलताएं कम होंगी। उन्होंने यह भी स्पष्ट किया कि BLO का तबादला नहीं किया जाएगा और वे निर्वाचन कार्य को सर्वोच्च प्राथमिकता देंगे।
बैठक में उप निर्वाचन पदाधिकारी श्रीमती श्वेता कुमारी, भागलपुर के राष्ट्रीय और राज्य स्तरीय मान्यता प्राप्त दलों के प्रतिनिधि उपस्थित रहे।