
भागलपुर: बिहार राज्य कार्यपालक सहायक सेवा संघ की भागलपुर इकाई ने बुधवार को जिले के सांसद अजय मंडल को 11 सूत्री मांग पत्र सौंपा। संघ ने सरकार से आग्रह किया है कि वर्षों से संविदा पर कार्य कर रहे कार्यपालक सहायकों को अब स्थायी सेवा का दर्जा दिया जाए और उन्हें राज्यकर्मी की तरह सुविधाएं उपलब्ध कराई जाएं।
संघ के जिलाध्यक्ष राहुल चौहान ने कहा कि कार्यपालक सहायक बीते कई वर्षों से बिहार सरकार की योजनाओं को धरातल पर उतारने में महत्वपूर्ण भूमिका निभा रहे हैं। हर स्तर पर प्रशासनिक कार्यों में सहयोग करने के बावजूद इन्हें न तो स्थायी सेवा का लाभ मिला है और न ही वेतनमान व अन्य आवश्यक सुविधाएं। उन्होंने कहा कि यह स्थिति बेहद दुर्भाग्यपूर्ण है और सरकार को अब संविदा कर्मियों के हित में ठोस निर्णय लेना चाहिए।
संघ की मुख्य मांगों में सेवा संवर्ग का गठन कर स्थायीकरण, मानदेय में सुधार, शैक्षणिक योग्यता में उन्नयन, ईपीएफ का लाभ, आकस्मिक निधन पर मुआवजा, स्वास्थ्य बीमा, मृतक सहायकों के आश्रितों को नौकरी और गृह जिला में स्थानांतरण जैसी सुविधाएं शामिल हैं। संघ का कहना है कि राज्य के अन्य विभागों के संविदा कर्मियों को पहले ही नियमितीकरण और वेतनमान का लाभ मिल चुका है, लेकिन कार्यपालक सहायकों को लगातार वंचित रखा जा रहा है। यह सीधा-सीधा भेदभाव है।
जिलाध्यक्ष ने कहा कि कार्यपालक सहायक अपनी जिम्मेदारियों का निर्वहन पूरी ईमानदारी और लगन से कर रहे हैं। यदि सरकार समय रहते उनकी मांगों पर ध्यान नहीं देती है तो आने वाले समय में वे बड़े आंदोलन का रास्ता अपनाने को मजबूर होंगे।
इस अवसर पर सांसद अजय मंडल ने संघ की मांगों को गंभीरता से सुना और भरोसा दिलाया कि वे इसे राज्य सरकार और संबंधित मंत्रालय तक पहुंचाएंगे। उन्होंने कहा कि कार्यपालक सहायक प्रशासनिक व्यवस्था की रीढ़ की हड्डी की तरह काम कर रहे हैं और उनकी समस्याओं का समाधान होना जरूरी है।
संघ ने उम्मीद जताई है कि सांसद के प्रयासों से उनकी आवाज सरकार तक पहुंचेगी और जल्द ही कार्यपालक सहायकों को उनका हक मिलेगा। जिले में इस पहल को लेकर कार्यपालक सहायकों में उम्मीद और उत्साह दोनों देखा जा रहा है।