
रिपोर्ट – सैयद ईनाम उद्दीन
सिल्क टीवी/भागलपुर (बिहार) : तिलकामांझी भागलपुर विश्वविद्यालय के टीएनबी कॉलेज में बुधवार को पहली बार सीनेट की बैठक ऑनलाइन माध्यम से हुई। सीनेट की वार्षिक बैठक में वित्तीय वर्ष 2022-23 के लिए 6 अरब, 14 करोड़, 28 लाख, 84 हजार, 7 सौ 48 रुपये घाटे के बजट को सदस्यों ने अनुमोदित कर दिया।

वहीं टीएमबीयू प्रशासन ने सीनेट के पटल पर रखा कि वह अपने आंतरिक श्रोत से सिर्फ 9 करोड़, 75 लाख, 31 हजार, 49 रुपये की कमाई ही कर सकता है, जबकि वित्तीय वर्ष के लिए 6 अरब 14 करोड़ के खर्च का अनुमान लगाया गया है। अब यह बजट राजभवन और सरकार के पास भेजा जाएगा।

इसके बाद ही विश्वविद्यालय को राशि मिलेगी। बता दें कि पिछली बार 6 अरब 3 करोड़ रुपये घाटे का बजट पेश किया गया था। बैठक में कुलपित प्रो. हनुमान प्रसाद पाण्डेय ने ऑनलाइन अध्यक्षीय भाषण दिया। जबकि प्रति कुलपति प्रो. रमेश कुमार ने बजट अभिभाषण पढ़ा। कुलसचिव डॉ. निरंजन प्रसाद यादव ने मंच संचालन करते हुए बैठक में जुड़े अधिकारियों और सदस्यों का स्वागत किया।

वहीं वर्चुअल बैठक में कई बार तकनीकी समस्या भी आई। इसके पूर्व कुलगीत और दीप प्रज्वलन के साथ सीनेट की बैठक शुरु हुई। इधर आनलाइन बैठक का कुछ सीनेटरों ने विरोध किया तो कुछ ने समर्थन।

कुलपति प्रो. हनुमान प्रसाद पाण्डेय ने अपने अध्यक्षीय भाषण में कहा कि मैंने कुलाधिपति के आदेश से 24 सितंबर 2021 को टीएमबीयू में पदभार ग्रहण किया और उसी तिथि से विश्वविद्यालय के विकास के लिए प्रयासरत हूं।

जबकि प्रति कुलपति प्रो. रमेश कुमार ने बजट भाषण पढ़ते हुए सदन का ध्यान विश्वविद्यालय की योजनाओं की ओर आकृष्ट कराया। बैठक प्रशाल में बड़ा और छोटा टीवी स्क्रीन लगाए गया था। साथ ही कोविड प्रोटोकाल का पालन करते हुए कुर्सियां भी लगाई गई थी।

बैठक में सीनेटर डॉ. मृत्युंजय सिंह गंगा, डॉ. संजीव सिंह, मुजफ्फर अहमद, प्रो. विलक्षण रविदास समेत कई सदस्यों ने छात्रहित की बात उठायी। वहीं पैठ परीक्षा के रिजल्ट, कॉपी खरीद बिक्री, विश्वविद्यालय प्रेस से काम नहीं लेने, TMBU स्वास्थ्य केंद्र की बदहाल स्थिति, पेंशनरों की समस्या, कर्मियों के मानदेय में बढ़ोतरी, संविदा कर्मियों का नियमितीकरण, नए विभाग खोले जाने, कुलपति और अधिकारियों का कार्यालय से गायब रहना, पीजी विभाग की जर्जर स्थिति सहित कई बिंदुओं पर चर्चा हुई।

भुष्टा अध्यक्ष प्रो. डीएन राय ने कहा कि कुलपति मुजफ्फरपुर में रहते हैं, F.O पटना में और रजिस्ट्रार भागलपुर में। इस त्रिकोणीय स्थिति से विश्वविद्यालय में समस्याओं का अंबार लगता जा रहा है। इस बीच कुछ सीनेट सदस्यों ने विश्वविद्यालय प्रशासन की कार्यप्रणाली पर सवाल भी उठाया। कुलपति ने सदस्यों के सवालों का जवाब दिया।

कुलपति ने कहा कि विश्वविद्यालय के विकास के लिए सीनेट सदस्य मिलकर काम करें। वहीं असामयिक निधन होने वाले अधिकारी, शिक्षक और कर्मियों के आत्मा की शांति के लिए 2 मिनट का मौन रखकर शोक व्यक्त किया गया। बैठक में एमएलसी सह सिंडीकेट सदस्य डॉ. संजीव सिंह, डीएसडब्ल्यू प्रो. रामप्रवेश सिंह, सीसीडीसी प्रो. केएम सिंह, प्रॉक्टर प्रो. रतन मंडल, वित्त परामर्शी मधुसूदन, टीएनबी कॉलेज के प्राचार्य डॉ. संजय कुमार चौधरी, डॉ. संजय झा, प्रो. अशोक ठाकुर, प्रो. रंजना, पीआरओ डॉ. दीपक कुमार दिनकर समेत पीजी हेड, प्राचार्य, शिक्षक और कर्मी शमिल थे।